उत्तराखंड में चारधाम यात्रा के दौरान हेली सेवाओं की सुचारु व्यवस्था और सुरक्षा को लेकर प्रशासन सक्रिय हो गया है। मुख्य सचिव आनंद बर्द्धन की अध्यक्षता में हुई उच्चस्तरीय बैठक में इस दिशा में कई ठोस फैसले लिए गए।
निर्देश दिया गया है कि राज्य के हर हेलिपैड पर एक प्रभारी अधिकारी की नियुक्ति अनिवार्य रूप से की जाए, जो हेली शटल सेवाओं के संचालन और सुरक्षा व्यवस्था की निगरानी करेगा। साथ ही, सभी हेलिपैड्स पर प्रशिक्षित स्टाफ और मानक संचालन प्रक्रिया (SOP) को सख्ती से लागू किया जाएगा।
केदारनाथ यात्रा मार्ग पर बढ़ती हेली आवाजाही को ध्यान में रखते हुए सहस्त्रधारा (देहरादून) और सिरसी (रुद्रप्रयाग) हेलिपैड्स पर एयर ट्रैफिक कंट्रोल (ATC) सिस्टम सितंबर के पहले सप्ताह तक स्थापित किया जाएगा। इससे उड़ानों की निगरानी और समन्वय में पारदर्शिता आएगी।
यात्रियों की सुविधा के लिए अब हर उड़ान की जानकारी — जैसे समय और नंबर — बोर्डिंग पास पर अंकित की जाएगी। वहीं, मौसम की सटीक जानकारी के लिए हेलिपैड्स पर मौसम अधिकारियों की नियुक्ति की जाएगी, जिनके उपकरण और वेतन की जिम्मेदारी यूकाडा (UCADA) उठाएगा।
इसके अतिरिक्त, चिन्हित स्थानों पर ऑटोमेटेड वेदर मॉनिटरिंग सिस्टम (AWMS) लगाने का काम भी जल्द शुरू होगा, ताकि मौसम जनित जोखिमों को समय रहते रोका जा सके।
इस बैठक में सचिव शैलेश बगौली, सचिव सचिन कुर्वे समेत अन्य वरिष्ठ अधिकारी मौजूद रहे।