उत्तराखंड में लगातार हो रही मूसलाधार बारिश के कारण चारधाम यात्रा एक बार फिर प्रभावित हुई है। यमुनोत्री, केदारनाथ, गंगोत्री और बदरीनाथ मार्गों पर भूस्खलन और सड़कें धंसने की वजह से यात्रा में कई घंटों का व्यवधान आया।
यमुनोत्री हाईवे पर 25 मीटर तक सड़क धंसी
यमुनोत्री मार्ग पर स्याना चट्टी के पास भूस्खलन और सड़क धंसने के कारण दूसरे दिन भी आवागमन पूरी तरह से ठप रहा। यहां करीब 25 मीटर लंबा हिस्सा धंस गया है। दोनों ओर मलबा और बोल्डर गिरने से मार्ग बंद है। लोक निर्माण विभाग के अनुसार मार्ग को बहाल करने के प्रयास जारी हैं।
केदारनाथ यात्रा दो बार रोकी गई
केदारघाटी में रविवार देर रात से शुरू हुई मूसलाधार बारिश के कारण सोमवार को सुबह तक हालात बिगड़ते रहे। इस दौरान रुद्रप्रयाग-गौरीकुंड हाईवे मुनकटिया के पास बंद हो गया, जबकि गौरीकुंड के पास पैदल मार्ग भी जोखिम भरा हो गया। एहतियातन सुबह यात्रियों को सोनप्रयाग में रोक दिया गया। मौसम में थोड़ा सुधार आने के बाद पूर्वाह्न 11 बजे यात्रा दोबारा शुरू की गई और लगभग चार हजार श्रद्धालु धाम के लिए रवाना किए गए। लेकिन शाम पांच बजे मौसम बिगड़ने पर यात्रा फिर से रोक दी गई।
गंगोत्री और बदरीनाथ मार्ग भी बाधित
गंगोत्री हाईवे पर यात्रा लगभग साढ़े चार घंटे तक प्रभावित रही, जबकि बदरीनाथ हाईवे दो घंटे बंद रहा। इन सभी मार्गों पर लगातार गिर रहे बोल्डर और मलबे को हटाने के लिए जेसीबी और मशीनों की मदद ली जा रही है।
प्रशासन ने किया राहत कार्य
एनडीआरएफ, एसडीआरएफ और स्थानीय पुलिस की टीमों ने मिलकर सोनप्रयाग और गौरीकुंड में यात्रियों को सुरक्षा घेरे में रास्ता पार कराया। जंगलचट्टी, भीमबली, रामबाड़ा और लिनचोली जैसे पैदल मार्गों पर भी कई स्थानों पर यात्रियों को सुरक्षित मार्ग प्रदान किया गया।
यात्रियों की सुरक्षा प्राथमिकता
जिला आपदा प्रबंधन अधिकारी नंदन सिंह रजवार ने बताया कि यात्रियों की सुरक्षा को ध्यान में रखते हुए ही यात्रा का संचालन किया जा रहा है। मौसम की स्थिति के अनुसार यात्रा को समय-समय पर रोका और फिर शुरू किया जा रहा है।