देहरादून: उत्तराखंड में वायु प्रदूषण की स्थिति पर नजर रखने के लिए 13 प्रमुख शहरों में एयर क्वालिटी इंडेक्स (AQI) की थर्ड पार्टी मॉनिटरिंग शुरू हो गई है। दीपावली से पहले और बाद में वायु प्रदूषण की स्थिति का आकलन किया जाएगा, क्योंकि इन दिनों में प्रदूषण स्तर बढ़ने की संभावना रहती है, जो सांस से संबंधित बीमारियों को बढ़ावा दे सकता है। देहरादून और नैनीताल सहित अन्य शहरों में 15 दिन तक यह निगरानी चलेगी।
**प्रमुख शहरों में 24 घंटे की मॉनिटरिंग**
उत्तराखंड पर्यावरण संरक्षण एवं प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड ने देहरादून समेत 13 शहरों में 24 घंटे की थर्ड पार्टी मॉनिटरिंग शुरू कर दी है। इस अभियान के तहत दीपावली से पहले और बाद में विभिन्न स्थानों पर वायु प्रदूषण की स्थिति की जांच की जाएगी। देहरादून, नैनीताल, ऋषिकेश सहित कई अन्य प्रमुख शहरों में यह मॉनिटरिंग अगले 15 दिनों तक चलेगी, ताकि वायु गुणवत्ता पर सही जानकारी प्राप्त हो सके।
**प्रदूषण की चपेट में आ रहे मैदानी इलाके**
दीपावली के मद्देनजर देहरादून के डालनवाला, दिलाराम चौक और दून विवि मार्ग के साथ ऋषिकेश में एम्स के निकट हवा की गुणवत्ता की निगरानी की जाएगी। सर्दियों की शुरुआत के साथ ही दून और अन्य मैदानी क्षेत्रों में हवा की गुणवत्ता तेजी से खराब हो रही है। मौसम में नमी बढ़ने और धुंध के कारण हवा की गुणवत्ता में गिरावट आ रही है। बीते पांच दिनों में देहरादून का AQI 100 से बढ़कर 150 तक पहुंच गया है, जो कि सांस के रोगियों के लिए हानिकारक साबित हो सकता है।
**सड़कों की खुदाई और धूल का बढ़ता खतरा**
देहरादून में विभिन्न जगहों पर चल रहे निर्माण कार्य और सड़कों की खुदाई भी वायु गुणवत्ता पर नकारात्मक असर डाल रही है। इन कार्यों से उड़ने वाली धूल और धुंध हवा को और भी प्रदूषित कर रही हैं। आगामी दिनों में वायु प्रदूषण के और बढ़ने की संभावना जताई जा रही है, जिससे शहर की हवा और अधिक खराब हो सकती है।
**हवा की गुणवत्ता के मानक:**
– 0-50: अच्छा
– 51-100: संतोषजनक
– 101-200: मध्यम रूप से खराब
– 201-300: खराब
– 301-400: बहुत खराब
– 401-500: गंभीर
**सांस के रोगियों के लिए बढ़ सकती हैं मुश्किलें**
वायु प्रदूषण के बढ़ते स्तर से खासकर सांस से संबंधित बीमारियों के मरीजों को अधिक दिक्कतों का सामना करना पड़ सकता है। देहरादून का एयर क्वालिटी इंडेक्स आने वाले दिनों में और भी खराब हो सकता है, इसलिए लोगों को सचेत रहने की जरूरत है।
आगे की चुनौतियां और संभावित सुधार
अगले कुछ दिनों में प्रदूषण के स्तर में और वृद्धि की आशंका है। सर्द मौसम और नमी की वजह से हवा की गुणवत्ता में गिरावट आने की संभावना है। ऐसे में सरकार और संबंधित विभागों को प्रदूषण नियंत्रण के लिए ठोस कदम उठाने की जरूरत है।