उत्तराखंड पर्यटन विभाग जल्द ही बेड एंड ब्रेकफास्ट योजना लागू करने जा रहा है। इस योजना के तहत पर्यटक गोवा की तरह आधुनिक फ्लैट, अपार्टमेंट, बंगला, कोठी, और कॉटेज किराए पर ले सकेंगे। भवन स्वामी अपने आधुनिक भवन को पर्यटन विभाग में पंजीकृत करवा सकते हैं। इसके बाद पर्यटक उन्हें किराए पर लेकर उपयोग कर पाएंगे। यह योजना जल्द ही लागू होगी।
वर्तमान होमस्टे योजना में बदलाव
वर्तमान में उत्तराखंड में होमस्टे योजना के तहत करीब 4000 होमस्टे पंजीकृत हैं, जिनमें केवल उत्तराखंड निवासी और भवन स्वामी को ही पंजीकरण की अनुमति है। साथ ही, भवन स्वामी को उसी संपत्ति पर निवास करना अनिवार्य होता है। इन सख्त नियमों के कारण कई भवन स्वामी इसका लाभ नहीं ले पा रहे।
अब पर्यटन विभाग द्वारा बेड एंड ब्रेकफास्ट योजना लाकर इस व्यवस्था को व्यवसायिक श्रेणी में बदला जा रहा है।
बेड एंड ब्रेकफास्ट योजना के मुख्य फायदे
भवन स्वामी को वहां रहने की आवश्यकता नहीं होगी।
उत्तराखंड में मौजूद बाहरी क्षेत्र के भवन स्वामी भी अपनी संपत्ति को पंजीकृत कर सकेंगे।
पंजीकरण शुल्क मात्र ₹3000 होगा।
अधिकतम 10 कमरे पर्यटकों को किराए पर दिए जा सकेंगे।
पंजीकरण हर 5 साल में नवीनीकरण होगा।
पर्यटकों को मिलेंगी आधुनिक सुविधाएं
पंजीकृत आवासों में पर्यटकों को निम्न सुविधाएं उपलब्ध होंगी:
पूरी तरह से सुसज्जित किचन (फ्रीज, माइक्रोवेव, बर्तन)
बेड, एसी, वाशिंग मशीन, बाथटब, शावर आदि
पर्याप्त पार्किंग स्थान
घर जैसा आरामदायक वातावरण
पूरी तरह से व्यवसायिक श्रेणी में होगी योजना
बेड एंड ब्रेकफास्ट योजना के तहत भवन स्वामियों को व्यावसायिक श्रेणी के अनुसार बिजली, पानी और अन्य शुल्क देने होंगे। जबकि होमस्टे योजना में यह residential श्रेणी में होता था।
होमस्टे योजना में भी बदलाव की तैयारी
अब होमस्टे योजना में केवल पारंपरिक उत्तराखंडी वास्तुकला वाले स्थल और ग्रामीण क्षेत्र में ही संचालन की अनुमति दी जाएगी। साथ ही, वहां भवन स्वामी का निवास आवश्यक होगा। ऐसे भवन स्वामी, जो अब बाहर रहते हैं, बेड एंड ब्रेकफास्ट योजना में शामिल होंगे।
आगे की प्रक्रिया
उत्तराखंड पर्यटन यात्रा, व्यवसाय एवं पंजीकरण नियमावली में संशोधन जारी है। स्टेकहोल्डर्स के साथ बैठक के बाद प्रस्ताव शासन में भेजा जाएगा। स्वीकृति मिलने पर योजना को लागू किया जाएगा।
— धीराज सिंह गर्ब्याल, सचिव पर्यटन